सरसों
हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय की टॉप 5 सरसों की किस्में
किसान साथियों नमस्कार, आज मैं आपको चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय (HAU), हिसार की ...
सरसों वाले किसानों के लिए समस्या:तेजी से फैल रहा है ये रोग, समय पर ऐसे करें रोकथाम
सरसों में सफेद रतुआ या सफेद रोली रोग अक्सर देखने को मिलता है। जब यह रोग लास्ट स्टेज पर होता है। किसान तब देखता है, किसका क्या उपाय करें। तब लेकिन तब यह पूरी तरह से कंट्रोल नहीं होता। क्योंकि इस रोग से जो सरसों की फसल को नुकसान होना होता है। वह उसे समय तक हो जाता है।
सरसों वाले किसान सावधान:तेजी से फ़ैल रहा है ये रोग, समय पर करें रोकथाम,पहचान, रोकथाम का तरीका सम्पूर्ण जानें
सरसों की फसल में इल्ली (सुंडी) आपके बीच वाले पत्तों या उससे नीचे वाले पत्तों पर देखने को मिलेगी। इसमें आपको झुंड में पत्तों पर छोटी-छोटी सुंडियां नजर आएगी। यह सुंडियां पत्तों का रस चूस कर उसे पर छोटे-छोटे होल बना देती हैं। और धीरे-धीरे पत्ते को सूखा देती है। आप अपने खेत में इस रोग की आसानी से पहचान कर सकते हैं। सुंडियों के ऊपर हलकी हलकी धारियां होती है। इसके अंडे आपको पत्तों के निचले भाग पर देखने को मिलते है। इसके अण्डों की संख्या भर मात्रा में होती है।
सरसों वाले किसान सावधान:सरसों में जड़ गलन रोग की पहचान
जड़ गलन एक फंगस जनित रोग है। इस रोग की फंगस जमीन में रहती है। जो लम्बे समय तक जमीन में जीवत रहने की क्षमता रखती है। यह फंगस पौधों को इफेक्ट करके उनकी जड़ों को गला देती है। इस रोग में पौधे की जड़ें बारीक धागे के आकार की रह जाती हैं, और धीरे-धीरे पौधा सूख जाता है।
सरसों की फसल में अधिक उत्पादन और तेल की मात्रा बढ़ने वाला सबसे ताकतवर खाद:Importance Of Sulphur In Mustard
सरसों में सल्फर एक महत्वपूर्ण रोल अदा करता है। यह मिट्टी को भुरभुरी बनाने के साथ-साथ सरसों में तेल की मात्रा को भी बढ़ता है। जिससे दानों का वजन बढ़ता है। अगर आपकी सरसों की फसल 10 क्विंटल तक पैदावार देती है, तो सरसों का पौधा जमीन से 12 किलो ग्राम तक सल्फर निकाल लेता है।
सरसों में यूरिया डालने का सही समय और मात्रा के बारे में जाने:Right way to add fertilizer in mustard
सरसों की फसल में हमें 50 किलोग्राम डीएपी, 100 किलोग्राम यूरिया, 30 किलोग्राम पोटाश, 20 किलोग्राम सल्फर और 6 किलोग्राम जिंक प्रति एकड़ प्रयोग करनी जरूरी है।
इस समय करें सरसों की बिजाई मिलेगी 1क्वान्टल से 2 क्वान्टल प्रति एकड़ तक अधिक पैदावार:Right time to sow mustard
सरसों की बिजाई करने का सही समय 10 अक्टूबर से लेकर 25 अक्टूबर तक का रहता है अगर आप इस समय अपनी सरसों की बिजाई करते हैं। तो आपको सबसे अच्छी पैदावार निकाल कर मिलेगी। सरसों की इस समय किसी भी किस्म की बिजाई कर सकते हैं। आप कम समय में पकने वाली अधिक समय में पकाने वाली दोनों प्रकार की किस्म की बिजाई इस समय पर कर सकते हैं। यह सरसों की बिजाई करने का सबसे सही समय है। अगर आप 20 अक्टूबर के लगभग अपनी सरसों की बिजाई करते हैं। तो आपको एक से दो कुंतल तक अधिक पैदावार मिलेगी। सरसों की बजाई के समय 15 से 25 सेल्सियस तापमान सबसे उपयुक्त रहता है।
अधिक पैदावार लेने के लिए एक्सेना एग्रिसाइंस की इस सरसों किस्म की बिजाई करें:AHBJ–7044 Hybrid Mustard Variety
AHBJ–7044 एक्सेना एग्रीसाइंस की एक काली सरसों की हाइब्रिड किस्म है। इस किस्म की लंबाई 5 से 6 फीट तक हो जाती है। यह किस्म सफ़ेद रतुए और अन्य फंगस रोगों के प्रति सहनशील है।
राशि-1604 हाइब्रिड काली सरसों किस्म की विशेषताएं:Rashi-1604 Hybrid Black Mustard Variety
राशि-1604 राशि सीड्स की काली हाइब्रिड सरसों की किस्म है। जो सफेद रतुए और सर्दी के प्रति सहनशील है। इस किस्म की जड़ मजबूत होती हैं। और यह गिरने के प्रति सहनशील है।
राशि सीड्स की नई हाईब्रिड सरसों किस्म RMX–9922 की खूबियां जानें:New Hybrid Mustard Variety RMX–9922
RMX–9922 सरसों की यह किस्म राशि सीड्स की एक हाइब्रिड किस्म है। जिसको आप किसी भी प्रकार की मिट्टी में लगा सकते हैं। यह किस्म पाले के प्रति सहनशील है. इस किस्म में किसी प्रकार का कोई रोग नहीं लगता। इसकी फलियां मोटी और लंबी होती हैं। जिससे इसमें झड़ने की समस्या नहीं होती।
एडवांटा सीड्स की हाइब्रिड सरसों की ADV–427 की विशेषताएं जानें:Hybrid Mustard ADV–427
ADV-427 एडवांटा सीड्स की एक हाइब्रिड काली सरसों की किस्म है। इस किस्म ने किसानों को पिछले वर्ष काफी अच्छी पैदावार निकालकर दी है। इस किस्म की फलियां मजबूत होती हैं, जो पकने पर झड़ती नहीं है।
फसलों में उपयोग होने वाले टॉनिक|Tonic used in crops
किसान साथियों नमस्कार, किसानों के लिए फसल से अधिक उत्पादन और अधिक मुनाफा लेना एक ...