श्रीराम सुपर-252 गेहूं किस्म की विशेषताएं:Improved wheat variety of Shriram Seeds

By Kheti jankari

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अधिक पैदावार देने वाली गेहूं की उन्नत किस्म श्रीराम सुपर-252 की खूबियां जानें

गेहूं भारत में उगाई जाने वाली मुख्य अनाज वर्गीय फसल है। गेहूं का प्रयोग आटे के रूप में रोटी बनाने के लिए किया जाता है। गेहूं की बिजाई भारत के उत्तर पश्चिमी मैदानी क्षेत्र पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, जम्मू कश्मीर के मैदानी इलाके और हिमाचल प्रदेश के मैदानी इलाकों में अधिक मात्रा में की जाती है। गेहूं की अनेक किस्में अलग-अलग कंपनियों और कृषि अनुसंधान के द्वारा किसानों के लिए तैयार की जाती हैं। ताकि किसान अच्छी पैदावार लेकर अच्छा मुनाफा कमा सके। ऐसी ही एक गेहूं किस्म श्रीराम सीड्स द्वारा बनाई गई है। जो श्रीराम सुपर-252 के नाम से जानी जाती है। इस गेहूं के बारे में संपूर्ण जानकारी नीचे पढें–

श्रीराम सुपर-231 गेहूं के बारे में जानें

श्रीराम सुपर-252 गेहूं किस्म की विशेषताएं

श्रीराम सुपर-252 गेहूं किस्म श्रीराम सीड्स इंडिया लिमिटेड द्वारा बनाई गई एक रिसर्च गेहूं किस्म है। गेहूं की यह एक अच्छी ऊंचाई वाली गेहूं किस्म है। इसकी ऊंचाई लगभग 103 सेंटीमीटर के आसपास रहती है। गेहूं की इस किस्म से भूसा अधिक बनता है। इस किस्म में गिरने की समस्या बिल्कुल भी नहीं है। यह एक ऐसी किस्म है, जो पाले को सहन करने की क्षमता रखती है। गेहूं की यह एक नई किस्म है, जो पीला रतुआ और भूरा रतुआ रोगों के प्रति सहनशील है। इस भी किस्म की बिजाई आप पूरे भारत में के किसी भी राज्य में कर सकते हैं। इस किस्म का दाना मोटा और चमकदार होता है। गेहूं की इस किस्म की बजाई आप अगेती और पछेती दोनों प्रकार से कर सकते है।

श्रीराम सुपर-252 गेहूं किस्म का पकाने का समय

गेहूं की यह किस्म पकाने में लगभग 125 दिन से 130 दिन का समय लेती है। लेकिन संचित और असंचित क्षेत्र में इसके पकाने का समय अलग-अलग हो सकता है।

श्रीराम सुपर-252 गेहूं किस्म की पैदावार

गेहूं की इस किस्म की औसत पैदावार 24 कुंतल प्रति एकड़ तक रहती है। लेकिन अच्छी देखभाल और समय पर खाद डालने से गेहूं की यह किस्म 28 कुंतल प्रति एकड़ तक पैदावार दे सकती है। इस किस्म के 1000 दानों का वजन 48 ग्राम रहता है।

श्रीराम सुपर-252 गेहूं किस्म का बजाई समय

गेहूं की यह किस्म समय पर और पिछेती बिजाई के लिए उपयुक्त रहती है। समय पर बजाई में यह किस्म सबसे अधिक पैदावार निकल के देती है। इस किस्म की बिजाई आप 10 नवंबर से लेकर 10 दिसंबर तक कर सकते हैं। इस किस्म का 40kg बीज प्रति एकड़ बजाई की जानी जरूरी है। लेट बजाई में बीज मात्रा 45kg प्रति एकड़ तक रख सकते है।

नोट–गेहूं बिजाई करते समय फफूंदीनाशक और कीटनाशक से बीज उपचार अवश्य करें।

जिन किसान भाइयों ने पिछले वर्ष गेहूं की इस किस्म की बिजाई की है। वह कृपया इस किस्म के बारे में अपने सुझाव अवश्य दें। ताकि दूसरे किसान भी आपके सुझाव का फायदा उठा सकें। धन्यवाद!

FAQ

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गन्ना और धान की फसल को सबसे अधिक पानी की जरूरत होती है।

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Kheti jankari

मैं एक किसान हूँ, और खेती में एक्सपर्ट लोगो से मेरा संपर्क है। मैं उनके द्वारा दी गयी जानकारी और अनुभव को आपके साथ साँझा करता हूँ। मेरा प्रयास किसानों तक सही जानकारी देना है। ताकि खेती पर हो रहे खर्च को कम किया जा सके।

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